भारत की नाराजगी का US अधिकारी पर दिखा असर, केजरीवाल पर बोलने की अब नहीं हिम्मत

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिराफ्तारी का अमेरिका, जर्मनी और संयुक्त राष्ट्र के अफसरों ने हाल ही में विरोध किया था. जिसके बाद भारत के विदेश मंत्रालय ने सख्त रुख अपनाते हुए चेतावनी दी कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय भारत के आंतरिक मामलों में दखल न दें, अगर ऐसा होता रहा तो इसका कड़ा जवाब दिया जाएगा. इन टिप्पणियों को लेकर अमेरिकी अधिकारी से पाकिस्तानी मूल के रिपोर्टर ने सवाल किया कि भारतीय विपक्ष का तो अमेरिका समर्थन करता लेकिन पाकिस्तान विपक्ष के लिए नहीं बोलता. जिसके जवाब देते हुए अमेरिकी अधिकारी के चेहरे पर भारत की चेतावनी का डर साफ नजर आ रहा था.

पाकिस्तानी रिपोर्टर का सवाल

एक प्रेस कांफ्रेंस के दौरान पाकिस्तानी मूल के पत्रकार ने पूछा, अमेरिका भारत के विपक्ष के लिए तो आवाज उठाता है लेकिन ऐसा पाकिस्तानी विपक्ष को लेकर देखने नहीं मिलता है. जबकी पाकिस्तान में कई पॉलिटिकल लीडर जेलों के अंदर है जिनमें महिलाएं भी शामिल हैं. जिसके जवाब में स्पोकपर्सन ने ज्यादा कुछ नहीं बोलने का नहीं रहा. उन्होंने जवाब दिया कि अमेरिका का स्टेंड सभी देशों के लिए समान है. कई मौकों पर हमने पाकिस्तान के लिए भी ऐसी ही आवाजें उठाई है.

जेल के अंदर पाकिस्तानी विपक्ष

पाकिस्तान में भी कई विपक्षी नेता जेलों के अंदर हैं. पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री और PTI के संस्थापक इमरान खान लंबे समय से जेल में. पाकिस्तान चुनाव में ही कई PTI नेताओं को जेल में डाला गया है. जिसका विरोध अमेरिका द्वारा नहीं किया गया है और हाल ही में पाक के नए प्रधानमंत्री से बाइडेन ने फोन पर बात कर रिश्ते बहतर करने की बात कही थी.

दिल्ली के मुख्यमंत्री को दिल्ली की शराब नीति मामले में गिरफ्तार किया गया है. उन्होंने अपनी गिरफ्तारी और रिमांड के खिलाफ हाई कोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसकी सुनवाई करने के बाद बुधवार को कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया था. दिल्ली हाई कोर्ट आज 4 अप्रैल को उनकी याचिका पर फैसला सुना सकती है. इसके अलावा उनको मुख्यमंत्री पद से हटाने को लेकर दायर की गई याचिका पर भी आज ही सुनवाई है.

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