पांच राज्यों की सत्ता को लेकर लग रहा करोड़ों का सट्टा, जानिए कहां किसकी सरकार बनने का है अनुमान

पांच राज्यों मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान, मिजोरम और तेलंगाना में मतदाताओं ने तो उम्मीदवारों के भाग्य को ई.वी.एम. में लॉक कर दिया है और इन राज्यों में किसकी सरकार बनेगी? इसका फैसला 3 दिसम्बर को गणना के बाद सबके सामने होगा। राजस्थान में राज बदलेगा या रिवाज, छत्तीसगढ़ में क्या भूपेश बघेल की फिर से बनेगी सरकार या एम.पी. में मामा शिवराज पास होंगे या फेल? इसे लेकर सट्टा बाजार ने अपनी ओर से फिलहाल भविष्यवाणी कर दी है। यही नहीं इस बाजार द्वारा घोषित की जा रही इस भविष्यवाणी के आधार पर लोग इस सियासत के सट्टे पर करोड़ों के दांव भी लगा रहे हैं।

एक अहम तथ्य ये भी है कि इस बाजार का आंकलन अब तक के चुनावों पर सटीक ही रहा है और जैसे ही गुरुवार को तेलंगाना की सभी 119 सीटों पर मतदान पूरा हो गया तो एकाएक बाजार के भावों में भी तब्दीली शुरू हो गई। हालांकि सट्टा बाजार राजस्थान, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश की सियासत को लेकर खासा सक्रिय है और फिलहाल इन्हीं तीनों राज्यों की सियासत पर ही ज्यादा सट्टा लगाया जा रहा है मगर कुछेक सट्टोरिए मिजोरम और तेलंगाना को लेकर भी अपना आंकलन तैयार करके इस पर भी दांव लगवा रहे हैं। इस बाजार की भविष्यवाणी फिलहाल ये है कि इन पांच राज्यों के विधानसभा चुनावों में तीन प्रदेशों में कांग्रेस ने अच्छा प्रदर्शन किया है, मगर इस बात का जिक्र करना यहां जरूरी हो जाता है ये आंकलन सट्टा बाजार का ही है और जो स्थिति मसलन भाव आज हैं, वे गणना के दौरान ऊपर-नीचे भी हो सकते हैं।

फिलहाल के भावों में तस्वीर यही है कि राजस्थान, छत्तीसगढ़ व मध्यप्रदेश को लेकर बाजार अपने भाव जारी किए हुए है लेकिन तेलंगाना में जहां कांग्रेस और बी.आर.एस. के बीच कांटे का मुकाबला बताया जा रहा है तो वहीं इसी बाजार की मानें तो मिजोरम में किसी को भी स्पष्ट बहुमत मिलता हुआ दिखाई नहीं दे रहा है, मगर इसमें कोई दोराय नहीं है कि सियासत के इस सट्टा बाजार पर राजनीतिक दलों से लेकर दांव के प्रति दिलचस्पी रखने वालों ने अपनी निगाहें गढ़ा ली है और हर पल जारी भाव के अनुसार दांव भी लगा रहे हैं।

ऐसे लगते हैं दांव

दरअसल, सियासत पर सट्टे का बाजार फलौदी, गुजरात, दिल्ली, भिवानी और सिरसा में बड़े पैमाने पर सजता है। हर राज्य के चुनाव पर इस बाजार से जुड़े लोग स्थिति को भांपते हुए यानी अपने सर्वेक्षण के अनुसार हार-जीत का पैमाना तय करते हुए भाव जारी करते हैं। इन भावों पर दिलचस्पी रखने वाले लोग अपने अपने आंकलन के मद्देनजर मोटा दांव लगाते हैं। ये सभी सौदे मोबाइल फोन पर किए जाते हैं। विशेष बात ये है कि ये दांव केवलमात्र कुल सीटों पर ही नहीं लग रहे बल्कि कुछ हॉट सीटों पर प्रत्याशियों की व्यक्तिगत हार जीत के साथ साथ कुल हासिल होने वाले वोटों को लेकर भी लगाए जाते हैं।

उदाहरण के तौर पर यदि राजस्थान के विधानसभा चुनाव की बात की जाए तो इस समय नोहर, हनुमानगढ़, गंगानगर, सूरतगढ़, संगरिया, भादरा, तारानगर व चुरु सहित कई ऐसी सीटें हैं जहां व्यक्तिगत उम्मीदवारों पर हार-जीत के साथ साथ जीतों के अंतर तक पर मोटे दांव लग रहे हैं। कमोबेश ऐसा ही मध्यप्रदेश की ऐसी सीटों पर भी दांव लग रहा हैं जहां बड़े चेहरे चुनावी मैदान में हैं। सट्टा बाजार से जुड़े लोगों का कहना है कि वे एक सर्वेक्षण के लिहाज से ही दांव लगवाते हैं लेकिन गणना के दौरान इन भावों में बदलाव आ सकता है।

सट्टा बाजार की ये है भविष्यवाणी

बेशक पांचों राज्यों मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, मिजोरम, तेलंगाना व राजस्थान में हुए चुनावों का परिणाम 3 दिसम्बर को सबके सामने होगा मगर सट्टा बाजार ने अपनी ओर से भविष्यवाणी करते हुए ये इशारा कर दिया है कि किस प्रदेश में कौन सा राजनीतिक दल फिलहाल भारी है। इस बाजार की भविष्यवाणी के अनुसार राजस्थान में भाजपा, मध्यप्रदेश में कांग्रेस, छत्तीसगढ़ में कांग्रेस का पलड़ा भारी है तो वहीं तेलंगाना में कांग्रेस और बी.आर.एस. के बीच कड़ी टक्कर है और मिजोरम में त्रिशंकु विधानसभा बनने के आसार हैं।

इस बाजार द्वारा जारी किए गए भावों के अनुसार राजस्थान में 114-116 सीटें भाजपा, 68-70 कांग्रेस व 16-18 निर्दलीयों के जीतने का अनुमान है और इसी अनुमान के आधार पर बाजार ने अपने भाव जारी किए हुए हैं। इसी प्रकार मध्य प्रदेश में 116-118 कांग्रेस, 107-109 भाजपा का भाव है। यानी यहां कांग्रेस काफी मजबूत स्थिति में है। छत्तीसगढ़ में भी कांग्रेस के पक्ष में बाजार ने 52-54 सीटों का भाव घोषित किया हुआ है तो यहां ये बाजार भाजपा के खाते में 35-37 सीटें मान रहा है।

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