बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस ने रविवार को शेख हसीना पर देश की हर संस्थान को नष्ट करने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री ने सत्ता में बने रहने के लिए लोकतांत्रिक अधिकारों को दबाया. यूनुस ने कहा कि उन्होंने ऐसे देश की कमान संभाली है जो कई मायनों में पूरी तरह से अव्यवस्थित है.
बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना को जून में आरक्षण के खिलाफ भड़के विद्रोह के बाद इस्तीफा देना पड़ा था. उन्होंने पीएम पद से 5 अगस्त को इस्तीफा दे दिया और भारत आ गई थी. बांग्लादेश में तख्तापलट के बाद मोहम्मद यूनुस ने 8 अगस्त को अंतरिम सरकार के मुख्य सलाहकार के रूप में शपथ ली. इस दौरान यूनुस ने कहा कि बांग्लादेश एक नई शुरुआत के चौराहे पर खड़ा है.
शेख हसीना के शासन में देश के खजाने को लुटा गया
यूनाइटेड न्यूज ऑफ बांग्लादेश ने प्रेस सचिव शफीकुल आलम के हवाले से मोहम्मद यूनुस के इस बयान को जारी किया है. अंतरिम सरकार के प्रमुख ने ढाका में कहा कि वो एक ऐसे देश की कमान संभाली है जो पूरी तरह से अव्यवस्थित है. उन्होंने कहा कि शेख हसीना के शासनकाल में न्यायपालिका टूट गई और चुनावों में खुलेआम धांधली की गई.
यूनुस ने कहा कि बांग्लादेश में डेढ दशक के क्रूर शासन के दौरान सत्ता का दुरुपयोग किया गया. बैंकों को पूरी तरह से लूटा गया और देश के खजाने का दुरुपयोग हुआ. वहीं, उन्होंने कहा कि वह सुशासन और भ्रष्टाचार से निपटने के साथ देश में आर्थिक सुधार को तवोज्जो देंगे. यूनुस ने कहा कि अंतरिम सरकार का पहला काम देश में कानून व्यवस्था को नियंत्रण में लाना होगी.
हिंदू समुदायों के खिलाफ हिंसा पर क्या बोले?
अंतरिम सरकार के प्रमुख ने बांग्लादेश में प्रदर्शन के दौरान धार्मिक हिंसा को लेकर भी बयान दिया. उन्होंने कहा कि, ‘हमारी सरकार सभी धार्मिक और जातीय समूहों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है.’ यूनुस ने आगे कहा कि अंतरिम सरकार बांग्लादेश में कई सुधारों को पूरा करने के बाद स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराएगी.
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