मई के महीने में शेयर बाजार में बड़ी गिरावट देखने को मिल चुकी है. बांबे स्टॉक एक्सचेंज के प्रमुख सूचकांक सेंसेक्स 2 मई के बाद से करीब 2000 प्वाइंट नीचे आ चुका है. दूसरी ओर नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का प्रमुख सूचकांक निफ्टी में 600 से ज्यादा अंकों की गिरावट देखने को मिल रही है. अगर बात आज की करें तो कारोबारी सत्र के दौरान सेंसेक्स में 250 से ज्यादा अंकों की गिरावट आ चुकी है. वहीं सेंसेक्स में 840 से ज्यादा अंकों की गिरावट आ चुकी है. आज की इस गिरावट की वजह से निवेशकों को 5 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का नुकसान हो चुका है.
अब सबसे बड़ा सवाल ये है कि आखिर शेयर बाजार में गिरावट क्यों देखने को मिल रही है. इसके प्रमुख कारण क्या है? जानकारों की मानें तो मौजूदा समय में चल रहे लोकसभा चुनाव, एफआईआई की बिकवाली, अमेरिकी डॉलर में उछाल, अमेरिकी फेड के रुख वजह से ट्रेजरी यील्ड में इजाफा, चौथी तिमाही के खराब परिणाम और भारत VIX इंडेक्स में इजाफा प्रमुख कारण माने जा रहे हैं. आइए जरा इन कारणों पर विस्तार से चर्चा करते हैं और शेयर बाजार के आंकड़ों को समझने की कोशिश करते हैं.
सेंसेक्स में गिरावट
बांबे स्टॉक एक्सचेंज के प्रमुख सूचकांक सेंसेक्स में गुरुवार को बड़ी गिरावट आ गई है. आंकड़ों के अनुसार सेंसेक्स मौजूदा समय यानी 1 बजकर 30 मिनट पर 780.71 अंकों की गिरावट के साथ 72,687.58 अंकों पर कारोबार कर रहा है. जबकि आज सेंसेक्स 73,499.49 अंकों पर ओपन हुआ था और कारोबारी सत्र के दौरान 842.25 अंक गिरकर 72624.14 अंकों के साथ दिन निचले स्तर पर पहुंच गया. अगर बात 2 मई के बाद से करें तो सेंसेक्स में करीब 2000 अंकों की गिरावट देखी जा चुकी है. जानकारों की मानें तो सेंसेक्स दमें आने वाले दिनों में उतार चढ़ाव देखने को मिल सकता है.
निफ्टी 250 अंक टूटा
अगर बात नेशनल स्टॉक एक्सचेंज के प्रमुख सूचकांक निफ्टी 50 करें तो 250 से ज्यादा अंकों की गिरावट देखने को मिल रही है. दोपहर एक बजकर 30 मिनट पर निफ्टी 264.30 अंकों की गिरावट के साथ 22,038.20 अंकों पर कारोबार कर रहा है. कारोबारी सत्र के दौरान निफ्टी में 281.45 अंकों तक टूट चुकी है और 22,021.05 अंकों के साथ दिन के लोअर पर पहुंच चुकी है. अगर निफ्टी 22 से नीचे आती है तो 19 अप्रैल के ऐसा पहली बार होगा. अगर बात 2 मई के बाद से करें तो निफ्टी में 627.15 अंकों की गिरावट देखी जा चुकी है. आने वाजे दिनों में निफ्टी में और गिरावट देखने को मिल सकती है.
निवेशकों को मोटा नुकसान
गुरुवार को शेयर बाजार में गिरावट की वजह से बाजार बंद होने से पहले निवेशकों को 5 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा नुकसान हो चुका है.निवेशकों का नुकसान और फायदा बीएसई के मार्केट कैप से तस होता है. एक दिन पहले बीएसई का मार्केट कैप 400 करोड़ रुपए के पार था, जोकि गुरुवार को कारोबारी सत्र के दौरान 3,95,64,869.73 करोड़ रुपए पर आ चुका है. इसका मतलब है बीएसई के मार्केट कैप को यानी निवेशकों को 5,04,539.89 करोड़ रुपए का नुकसान हो चुका है. वहीं दो मई के बाद से निवेशकों को करीब 11 लाख करोड़ की गिरावट देखने को मिल चुकी है.
इन 5 कारणों से गिर रहा शेयर बाजार
- लोकसभा चुनाव : जानकारों की मानें तो भारतीय शेयर बाजार ने पहले ही लोकसभा चुनावों में भाजपा के नेतृत्व वाले एनडीए की जीत को कम कर दिया है. अब, भारतीय शेयर ज्यादा से ज्यादा खरीद की स्थिति में हैं और इसलिए दलाल स्ट्रीट पर समय से पहले मुनाफावसूली शुरू हो गई है. लेकिन, यह बिकवाली केवल फ्रंटलाइन लार्ज-कैप शेयरों में ही दिखाई दे रही है. गुरुवार को स्मॉल-कैप और मिड-कैप सूचकांकों में तेजी आई और उन्होंने फ्रंटलाइन इंडेक्स को पीछे छोड़ दिया है.
- विदेशी निवेशकों की बिकवाली : प्रॉफिटमार्ट सिक्योरिटीज के अविनाश गोरक्षकर ने मीडिया रिपोर्ट में कहा कि एफआईआई इस महीने भारी बिकवाली कर रहे हैं. मई 2024 में गुरुवार तक कैश सेगमेंट से एफआईआई 15863 करोड़ रुपए बेच चुके हैं. जबकि फ्यूचर एंड ऑप्शन (एफएंडओ) सेगमेंट में एफआईआई 5,292 करोड़ रुपए निकाल चुके हैं.
- यूएस फेड का हॉकिश : एसएमसी ग्लोबल सिक्योरिटीज के सौरभ जैन ने मीडिया रिपोर्ट में कहा कि हाल ही में कुछ यूएस फेड अधिकारियों की हॉकिश बातों ने भारतीय शेयरों पर अतिरिक्त दबाव डाला है. इस महीने की शुरुआत में कुछ मुनाफावसूली देखने के बाद, इस तरह के बयानों की वजह से अमेरिकी डॉलर में तेजी देखने को मिली है. जिसकी वजह से यूएस ट्रेजरी यील्ड में बढ़ोतरी देखी गई है.
- उम्मीद से खराब चौथी तिमाही नतीजे : मीडिया रिपोर्ट में सौरभ जैन कहते हैं कि वित्त वर्ष 2024 के चौथी तिमाही के नतीजे जिस तरीके के आने चाहिए थे. वो देखने को नहीं मिले हैं. इसका असर भी शेयर बाजार में में देखने को मिल रहा है. अगले एक हफ्ते तिमाही नतीजों का मौसम भी खत्म होने वाला है. उससे पहले निवेशकों की ओर मुनाफा वसूली की जा रही है.
- VIX इंडेक्स में तेजी : VIX इंडेक्स में लगातार इजाफे ने नए खरीदारों के बीच भी संदेह पैदा कर दिया है, जो मौजूदा अस्थिर बाजार में पैसा लगाने से कतरा रहे हैं. जैसा कि भारत VIX इंडेक्स में लोकसभा चुनावों के दौरान चढ़ने का इतिहास रहा है. प्रॉफिटमार्ट सिक्योरिटीज के अविनाश गोरक्षकर ने कहा कि अभी आम चुनाव 2024 के बीच में हैं, जैसे-जैसे हम चुनाव नतीजों की तारीख के करीब आएंगे, अस्थिरता और बढ़ने की उम्मीद है.
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