नई दिल्ली। विपक्षी दलों के गठबंधन I.N.D.I.A. में सीट शेयरिंग पर अब तक कोई फैसला नहीं हुआ है। ताजा खबर यह है कि कांग्रेस रविवार से सीट शेयरिंग पर साथी दलों से बातचीत शुरू होने जा रही है। शुरुआत बिहार से होगी।
कांग्रेस के नेता मुकुल वासनिक के दिल्ली वाले निवास पर जुटेंगे। यहां से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पटना में बैठे आरजेडी के नेताओं से बात होगी।
अन्य राज्यों की तरह बिहार में भी सीट शेयरिंग (Seat Sharing) इतनी आसान नहीं होगी। कारण यहां जदयू (JDU) और आरजेडी (RJD) के रूप में दो बड़ी क्षेत्रीय पार्टियां हैं।
बिहार में लोकसभा की कुल 40 सीट हैं। इसमें से 17-17 सीट पर जदयू और आरजेडी ने पहले ही दावा ठोंक दिया है। नीतीश कुमार और लालू यादव की पार्टी का मानना है कि बिहार में कांग्रेस को सिर्फ 5 सीट पर चुनाव लड़ना चाहिए। देखनी यही है कि क्या कांग्रेस इतना बड़ा त्याग करती है या नहीं।
गठबंधन में RJD-कांग्रेस को एक मान रही JDU
बिहार की राजनीति दिलचस्प है। विपक्षी दलों के गठबंधन में भी ऐसा है। कांग्रेस सीट शेयरिंग के लिए बात कर रही है, लेकिन उसकी बात सिर्फ लालू की पार्टी आरजेडी से हो रही है। इसमें जदयू शामिल नहीं है।
दरअसल, जदयू का मानना है कि उसके लिए गठबंधन में कांग्रेस, आरजेडी का एक हिस्सा है। यही कारण है कि नीतीश की पार्टी ने गठबंधन में अपने हिस्से की 17 सीट मांग ली है, शेष 23 में से आरजेडी के ऊपर है कि वो कांग्रेस या अन्य छोटे दलों (माले, सीपीआई) को कितनी सीट देती है।
क्या चार सीट पर मानेगी कांग्रेस
आरजेडी के नेता कांग्रेस के लिए चार सीट छोडऩा चाहते हैं। ये सीट भी ऐसी हैं जहां भाजपा मजबूत है। देखना यही है कि क्या कांग्रेस चार सीट पर मानेगी या नहीं
उत्तर प्रदेश में भी सीट शेयरिंग पर माथापच्ची जारी है। इस बीच, समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि उत्तर प्रदेश में सीटों के बंटवारे पर कोई विवाद नहीं है और सही समय पर ऐलान कर दिया जाएगा।
वहीं इंडिया गठबंधन में बसपा को शामिल करने के सवाल पर अखिलेश यादव ने कहा कि चुनाव बाद उनकी गारंटी कौन लेगा
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