भोपाल। वर्तमान में अलग-अलग स्थानों पर पांच मौसम प्रणालियां बनी हुई हैं। इनके प्रभाव से बंगाल की खाड़ी और अरब सागर से लगातार नमी आ रही है। मौसम विज्ञानियों के अनुसार नमी के कारण रविवार को ग्वालियर, चंबल और उज्जैन संभाग के जिलों में कहीं-कहीं वर्षा हो सकती है। उधर शनिवार को सुबह साढ़े आठ से शाम साढ़े पांच बजे तक धार में दो, इंदौर में 1.7 मिलीमीटर वर्षा दर्ज की गई। उज्जैन में बूंदाबांदी हुई। ग्वालियर, चंबल, सागर संभाग के जिलों में सुबह कोहरा छाया रहा।
भोपाल में सुबह के समय धुंध छाई रही। सुबह साढ़े सात बजे से सुबह 10:30 बजे तक दृश्यता 1000 मीटर रही। प्रदेश में सबसे कम 12 डिग्री सेल्सियस तापमान खजुराहो में दर्ज किया गया। मौसम विज्ञान केंद्र से मिली जानकारी के अनुसार वर्तमान में दक्षिणी हरियाणा में हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है।
एक पश्चिमी विक्षोभ द्रोणिका के रूप में उत्तराखंड पर मौजूद है। दक्षिणी गुजरात उससे लगे उत्तरी महाराष्ट्र और अरब सागर पर हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है।
इस चक्रवात से लेकर उत्तर-पूर्वी मध्य प्रदेश तक एक द्रोणिका बनी हुई है। इसके अलावा एक नया पश्चिमी विक्षोभ द्रोणिका के रूप में अफगानिस्तान के आसपास सक्रिय हो गया है।
मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि अलग-अलग स्थानों पर बनी इन मौसम प्रणालियों के असर से बंगाल की खाड़ी एवं अरब सागर से लगातार नमी मिलने के कारण मध्य प्रदेश के अधिकतर शहरों में बादल बने हुए हैं।
रविवार को ग्वालियर, चंबल एवं उज्जैन संभाग के जिलों में वर्षा होने की संभावना है। शेष जिलों में भी बादल बने रहेंगे। साथ ही बूंदाबांदी भी हो सकती है। ग्वालियर, चंबल, सागर संभाग के जिलों में कोहरा रहेगा।
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