दमोह के जबेरा में भाजपा कांग्रेस का समीकरण प्रभावित कर सकती है गोंगपा

दमोह। 1957 के विधानसभा चुनाव में अस्तित्व में आए नोहटा विधानसभा क्षेत्र के लिये यह 17वां विधानसभा चुनाव है। वर्ष 2010 में क्षेत्र में उपचुनाव हुआ था। इस बार विधानसभा चुनाव में भाजपा-कांग्रेस के प्रतिद्वदियों के मध्य सीधा मुकाबला है, लेकिन भाजपा के एक बागी प्रत्याशी ने मुकाबला रोचक बना दिया है।

यहां वर्ष 2008 के चुनाव के पूर्व हुए परिसीमन में नोहटा विधानसभा का नाम बदलकर जबेरा हो गया और इसमें दमोह विधानसभा के बनवार, घटेरा, रोड क्षेत्र के अनेक ग्राम विधानसभा में शामिल हो गए थे, जबकि हथनी, अभाना, लखनपुर, सोमखेड़ा, कांकर, इमलिया, मनका, लकलका, टोरी क्षेत्र के ग्राम दमोह विधानसभा में शामिल हो गए थे।

इस सीट पर लोधी, आदिवासी समाज का वर्चस्व है वर्ष 2013 के चुनाव में कांग्रेस के प्रतापसिंह लोधी ने भाजपा के दशरथ सिंह लोधी को 11 हजार 896 मतों से पराजित किया था, जबकि इस चुनाव में भारतीय शक्ति चेतना पार्टी के आशीष शुक्ला 7,729 मत लेकर तीसरे स्थान पर रहे थे, इस चुनाव में आठ प्रत्याशी मैदान में थे।

वही वर्ष 2018 के चुनाव में 13 प्रत्याशी चुनाव मैदान में थे जिसमें कांग्रेस प्रत्याशी प्रताप सिंह लोधी को 45 हजार 416 मत प्राप्त हुए थे, जबकि भाजपा प्रत्याशी वर्तमान विधायक धर्मेंद्र सिंह लोधी को 48 हजार 901 मत प्राप्त हुए थे। उन्होंने तीन हजार 485 मतों से पराजित किया था।

इस चुनाव में कांग्रेस के बागी पूर्व मंत्री रत्नेश सालोमन के पुत्र आदित्य सालोमन और भाजपा के बागी जिला पंचायत सदस्य राघवेंद्र सिंह ऋषि ने निर्दलीय रूप में चुनाव लड़ा था। इसमें राघवेंद्र सिंह ऋषि तीसरे नंबर पर रहे थे। इस चुनाव में राघवेंद्र सिंह ऋषि को 21 हजार 751 मत और आदित्य सालोंमन को 13 हजार 015 मत प्राप्त हुए थे।

इस बार मुकाबला रोचक

यहां से वर्तमान में 12 प्रत्याशी चुनाव मैदान में है जिसमें कांग्रेस प्रत्याशी प्रताप सिंह लोधी और भाजपा प्रत्याशी धर्मेन्द्र सिंह लोधी के बीच आमने-सामने की टक्कर है। इस क्षेत्र में भाजपा के बागी विनोद राय गोंडवाना गणतंत्र पार्टी से चुनाव मैदान में है, जहां एक और वर्तमान विधायक धर्मेन्द्र सिंह लोधी इस सीट पर पुनः काबिज होने के लिए प्रयासरत हैं, वहीं कांग्रेस इस सीट को अपने कब्जे में फिर से लेने की भरसक कोशिश कर रही है।

यह जिले की एकमात्र ऐसी विधानसभा है जहां पर इस बार अभी तक किसी भी दल के राष्ट्रीय या प्रदेश स्तर के किसी नेता की कोई भी जनसभा आयोजित नहीं हुई है। यहां पर ना तो भाजपा की ओर से और ना ही कांग्रेस की ओर से अभी तक कोई नेता आया है। हालांकि शिक्षा, स्वास्थ्य, पेयजल जैसे मुद्दों को लेकर प्रत्याशी चुनाव मैदान में है लेकिन गोंगपा प्रत्याशी विनोद राय दोनों ही दलों पर क्षेत्र की उपेक्षा का आरोप लगाकर क्षेत्र के विकास करने के नाम पर वोट मांग रहे हैं।

स्वयं द्वारा क्षेत्र के नागरिकों की की गई समस्याओं की निराकरण, गरीब कन्याओं के विवाह, स्वास्थ्य, अंतिम यात्रा के लिये सामग्री सहित अस्थि विसर्जन के लिए वाहन उपलब्ध करने जैसे लगातार कार्य के नाम पर आकर्षित करने में जुटे हैं।

इन मुद्दों पर टिका चुनाव

जबेरा में वर्तमान विधायक भाजपा प्रत्याशी धर्मेंद्र सिंह लोधी अपने पांच वर्षीय कार्यकाल में किए गए विकास कार्यों के नाम पर वोट मांग रहे हैं। कांग्रेस प्रत्याशी प्रताप सिंह लोधी सरकार की विफलताओं और भ्रष्टाचार सहित क्षेत्र के विकास में किसी भी प्रकार की उपलब्धि, महंगाई आदि मुद्दों को लेकर अपने पक्ष में माहौल करने का प्रयास कर रहे हैं। गोंगपा प्रत्याशी विनोद राय पत्नी के जनपद अध्यक्ष होने के दौरान क्षेत्र में किए गए विकास कार्यों के साथ लोगों की मदद करने, सहजता से उपलब्ध रहने जैसे मुद्दों को लेकर मैदान में हैं।

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