राज्यसभा की कार्यवाही 13 मार्च तक स्थगित

नई दिल्ली । संसद के बजट सत्र के अंतिम दिन भी अदाणी मुद्दे पर दोनों सदनों में विपक्ष का हंगामा देखने को मिला। राज्यसभा व लोकसभा की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी सांसदों ने सदन में हंगामा किया, जिसके बाद राज्यसभा की कार्यवाही 13 मार्च तक के लिए स्थगित कर दी गई है। इस बीच निशिकांत दुबे ने राहुल पर भी हमला बोला। उन्होंने कहा बिना स्पीकर को नोटिस दिए आप हमारे पीएम पर इस तरह के आरोप नहीं लगा सकते। राहुल को संसद में माफी मांगनी चाहिए अन्यथा वह अपनी लोकसभा सदस्यता खो सकते हैं। केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने राहुल गांधी पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि निशिकांत दुबे ने राहुल गांधी को अनाप-शनाप बेबुनियाद आरोप लगाने पर नोटिस दिया है। जो बोल रहे हैं उसे प्रमाणित तो करना पड़ेगा, लेकिन ये प्रमाणित भी नहीं करते हैं। हम सब इस देश के लोगों के प्रति जवाबदेह हैं। इस बार इस नोटिस पर कार्यवाही होगी।

राहुल ने नियम तोड़े, उन्हें माफी मांगनी चाहिए: पीयूष गोयल
केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने कहा कि जिस तरह से सदन में आकर विपक्ष हंगामा करके कार्यवाही नहीं चलने दे रहा है, ये बहुत ही गलत है। राहुल ने चेयर का अपमान किया, नियम तोड़े, उन्हें माफी मांगनी चाहिए। इसके बाद वे अपना प्रस्ताव ले आए, सदन अपने विवेक से उस पर निर्णय लेगा। केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने विपक्ष पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि बार-बार अनुरोध करने के बावजूद विपक्ष ने सदन को चलने नहीं दिया। विपक्ष सदन न चलने देने का फैसला कर के ही सदन में आते हैं। दुख होता है जब सदस्य बहुत ही गंभीर विषय उठाना चाहें, लेकिन उन्हें मौका नहीं मिले। ये सदस्यों के अधिकारों का भी उल्लंघन है। अदानी मुद्दे पर विपक्षी सांसदों द्वारा नारेबाजी के बीच राज्यसभा की कार्यवाही 13 मार्च सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई है। बजट सत्र का दूसरा भाग 13 मार्च से शुरू होगा।

विपक्षी सांसदों के हंगामे पर सभापति धनखड़ ने जताई नाराजगी
राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने कहा कि जान-बूझकर विपक्ष सदन में अड़ंगा लगा रहा है और यह सदन चलाने का तरीका नहीं है। हम पहले ही काफी समय बर्बाद कर चुके हैं। यदि सदन में इस तरह के व्यवधान उत्पन्न होंगे तो तो मैं लोगों की अपेक्षा के अनुसार कार्य करने के लिए विवश हो जाऊंगा।

वेल में प्रवेश करने पर सभापति ने दी चेतावनी
राज्यसभा के सभापति ने सांसद राघव चड्ढा, संजय सिंह, इमरान प्रतापगढ़ी, शक्ति सिंह गोहिल, संदीप पाठक और कुमार केतकर सहित अन्य नेताओं को वेल में प्रवेश करने को लेकर चेतावनी दी। सदन में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे के भाषण के अंश निकाले जाने के बाद विपक्षी सदस्यों के हंगामे के बाद राज्यसभा की कार्यवाही 11:50 तक के लिए स्थगित कर दी गई है।सांसदों के नारेबाजी के बीच राज्यसभा सभापति ने विपक्ष के नेता खरगे से कहा कि विपक्ष के नेता आपने इतने शब्दों में संकेत दिया है कि अध्यक्ष दबाव में काम कर रहे हैं। इन शब्दों को हटा दिया गया है। आप सदन के पटल पर बने रहने के अपने अधिकार का हनन कर रहे हैं। हर बार आप कह रहे हैं कि अध्यक्ष दबाव में काम कर रहे हैं।

खड़गे ने राहुल को नोटिस दिए जाने पर जताया एतराज
राहुल गांधी को लोकसभा सचिवालय के नोटिस पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि राहुल गांधी ने संसद में जो कुछ भी कहा था वह पहले से पब्लिक डोमेन में है, जो सभी लोग बोलते-लिखते हैं। वही बात उन्होंने कही है। इसमें कुछ भी असंसदीय नहीं है। इसलिए वह उसी हिसाब से नोटिस का जवाब देंगे।

15 तक स्पीकर को सबूत दिखाएं राहुल गांधी: निशिकांत दुबे
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने राहुल गांधी पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि बिना स्पीकर को नोटिस दिए आप हमारे पीएम पर इस तरह के आरोप नहीं लगा सकते। नोटिस में हमने राहुल गांधी को 15 फरवरी तक स्पीकर को सबूत दिखाने के लिए कहा है, जो उनके दावों को साबित कर सकता है या उन्हें संसद में माफी मांगनी चाहिए अन्यथा वह अपनी लोकसभा सीट खो देंगे।

अदानी मुद्दे पर चर्चा के लिए अन्य दलों की लेंगे राय: खड़गे
वहीं कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि चूंकि आज संसद में बजट सत्र के पहले भाग का आखिरी दिन है, हम इस बात पर चर्चा करेंगे कि हम इस अदानी मुद्दे को कैसे सुलझा सकते हैं और हमारे अध्यक्ष क्या करेंगे। अन्य दलों के नेताओं की भी इस पर राय लेंगे।

कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने दिया चीन के मुद्दे पर नोटिस
कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने सोमवार को लोकसभा में चीन के अतिक्रमण के मुद्दे पर चर्चा के लिए स्थगन नोटिस पेश किया। नोटिस में तिवारी ने कहा अप्रैल 2020 से चीन लगातार हमारी जमीन हड़पने में लगा हुआ है। 16 जनवरी 2023 तक भारत और चीन के बीच कमांडर स्तर की 17 दौर की वार्ता हो चुकी है, इसमें थोड़ी सफलता मिली है, जबकि चीन अपने सैनिकों के लिए पुलों, सड़कों और आवास सहित महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे का निर्माण करना जारी रखा हुआ है। चीन एकतरफा यथास्थिति को बदलने का प्रयास कर रहा है।

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