विराट कोहली टेस्ट क्रिकेट में सबसे ज्यादा मैच जीतने वाले भारतीय कप्तान हैं. टेस्ट में उन्हें एग्रेसिव अप्रोच के लिए जाना जाता है. टीम इंडिया ने उनकी कप्तानी में विदेशी जमीन पर भी सीरीज अपने नाम की. ऑस्ट्रेलिया इसका सबसे बड़े उदाहरण है. उनकी सफलता का राज तेज गेंदबाज थे, जिनके दम पर कोहली ने हर टीम को धूल चटा दी. बीसीसीआई के ताजा इंटरव्यू में गौतम गंभीर ने विराट कोहली के इस योगदान के लिए तारीफ की है. गंभीर ने मोहम्मद शमी, जसप्रीत बुमराह, ईशांत शर्मा, मोहम्मद सिराज और उमेश यादव जैसे तेज गेंदबाजों को तैयार करना कोहली का सबसे बड़ा योगदान बताया.
कोहली क्यों बने सबसे सफल टेस्ट कप्तान?
बीसीसीआई के ताजा वीडियो में दोनों दिग्गजों ने अपने अनुभव शेयर किए हैं. इस दौरान गंभीर ने कहा कि किसी भी क्रिकेटर और टीम की असली पहचान टेस्ट क्रिकेट से होती है. ऐसें में कोहली के अप्रोच की तारीफ की. टीम इंडिया के हेड कोच के मुताबिक बल्लेबाज के तौर पर एक मजूबत बैटिंग यूनिट बनाना आसान है.
लेकिन टेस्ट मैच 20 विकेट लेकर जीते जाते हैं और इसके लिए बॉलिंग यूनिट की जरूरत पड़ती है. ये काम कोहली ने बखूबी किया. गंभीर ने कहा कि ‘आपने मोहम्मद शमी, जसप्रीत बुमराह, ईशांत शर्मा, मोहम्मद सिराज और उमेश यादव जैसे तेज गेंदबाजों को लेकर आपका जो एटिट्यूड था, वो काफी प्रभावित करने वाला था.’
तेज गेंदबाजों के लिए जन्नत थी कोहली की कप्तानी
विराट कोहली टेस्ट क्रिकेट में अपनी एग्रेसिव कप्तानी और तेज गेंदबाजों के दम पर विदेशी जमीन पर भी मुकाबले जीतने के लिए जाने जाते हैं. उनकी कप्तानी में भारत के पेस अटैक ने सबसे सुनहरा दौर देखा. कोहली के कप्तान रहते हुए टीम इंडिया के 6 गेंदबाजों ने 100 विकेट लिए. विराट कोहली की कप्तानी में मोहम्मद शमी ने 46 मैच में 168 विकेट, जसप्रीत बुमराह ने 24 मैच में 103, ईशांत शर्मा ने 43 मैच में 121 , उमेश यादव ने 37 मैच में 104, अश्विन ने 55 मैच में 293 और रवींद्र जडेजा ने 40 मैच में 165 विकेट चटकाए.
भारतीय तेज गेंदबाजों ने विदेशों में 26.55 की औसत से हर मुकाबले में 8.7 विकेट लिए. वहीं 22 बार 5 विकेट लेने का भी कारनामा किया. यह किसी भी भारतीय कप्तान की तुलना में सबसे अधिक है. कपिलदेव के बाद वो केवल दूसरे कप्तान हैं, जब तेज गेंदबाजों का औसत विदेश में 30 के नीचे रहा. इतना ही नहीं तेज गेंदबाजों बेस्ट स्ट्राइक रेट (51.3) भी कोहली के दौर में ही रहा.
सबसे ज्यादा मैच जीतने वाले कप्तान
विराट कोहली ने 2014 में ऑस्ट्रेलिया दौरे पर कप्तानी संभाली थी. तब वो महज 25 साल के थे. उसके बाद उन्होंने 8 सालों तक टेस्ट क्रिकेट में टीम इंडिया के कप्तान रहे. इस दौरान उन्होंने 68 में से 40 मुकाबले जीते, वहीं 11 ड्रॉ रहे और 17 में हार मिली. सबसे ज्यादा टेस्ट मैच जीतने के मामले में कोहली भारत में पहले और दुनिया में चौथे नंबर हैं.
बता दें धोनी ने 60 में 27 और सौरव गांगुली ने 49 में 21 टेस्ट मैच जीते हैं. वहीं ग्रीम स्मिथ ने 53, पॉन्टिंग ने 48 और वॉ 41 ने मैच जीते थे. वहीं कोहली की जीत का प्रतिशत 58.82 रहा, जो स्टीव वॉ 71.93 और रिकी पॉन्टिंग के 62.34 के बाद तीसरे नंबर पर है.
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