इंदौर: पिछले दिनों इंदौर नगर निगम में हुए करोड़ों के फर्जी बिल और ड्रेनेज घोटाले को लेकर आज प्रवर्तन निदेशालय यानि ईडी एक्शन में नजर आई। ईडी अधिकारियों ने आज मामले के दोषियों के अलग अलग ठिकानों पर छापा मारा। ऑडिट, अकाउंट्स विभाग के कर्मियों के अलावा नगर निगम ठेकेदारों के 12 ठिकानों पर ईडी की कार्रवाई की जानकारी है।
इंदौर नगर निगम के फर्जी बिल ड्रेनेज घोटाला मामले में ईडी की टीम ने कई जगह छापामार कार्रवाई की है। इसमें नगर निगम के ठेकेदारों के अलावा अकाउंट्स और ऑडिट विभाग के कर्मियों के यहां छापा मारा गया है। ईडी ने सुखदेव नगर में हरीश श्रीवास्तव, माणिकबाग में प्रो. एहतेशाम खान, अशोका कॉलोनी के सकीना अपार्टमेंट में जाहिद खान, मदीना नगर में मोहम्मद साजिद, मोहम्मद सिद्दीकी व मोहम्मद जाकिर, आशीष नगर में राहुल वडेरा, रेणु वडेरा, महालक्ष्मी नगर अनिल गर्ग, अम्बिकापुरी में राजकुमार पन्नालाल साल्वी, सुखलिया में उदयसिंह भदोरिया व अन्य पर ईडी के अधिकारियो और कर्मचारियों ने छपा मार कार्यवाही की है। हालांकि ईडी की तरफ से इस छापेमारी को लेकर कोई भी जानकारी सांझा नहीं की गई है लेकिन सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक फर्जी बिल घोटाले, ड्रेनेज घोटाले से जुड़े कई अहम और महत्वपूर्ण दस्तावेज, बैंक खातों, ट्रांजेक्शन की जानकारी इन आरोपियों घर से ईडी ने जब्त किए हैं। सुबह ही ईडी की टीमों ने इन आरोपियों के ठिकानों पर दस्तक दी। अधिकारियों ने पूरे घर की सघन तलाशी ली और मामले से जुड़ी फाइलें व दस्तावेज लेकर रवाना हो गए।
दरअसल पिछले कई दिनों से इसी इस मामले को लेकर लगातार जांच कर रही थी और जांच में अहम तथ्य सामने आने के बाद अब ईडी ने इस छापामार कार्रवाई को अंजाम दिया है। गौरतलब है कि ड्रेनेज बिल घोटाले की राशि 100 करोड़ रु. से ज्यादा बताई जा रहा है। इस मामले 8 से ज्यादा ठेकेदारों ने बगैर काम किए फर्जी बिल लगाकर नगर निगम को नुकसान पहुंचाया। बड़ी बात यह है कि घोटाले में ऑडिट और लेखा विभाग के कर्मियों की मिलीभगत मिली है।
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.