उमरिया। बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में बाघ को घेर कर फोटोग्राफी कराने का मामला उछलने के बाद भोपाल से एक आदेश आया है जिसमें कहा गया है कि मध्य प्रदेश के सभी टाइगर रिजर्व में अब पर्यटक वाहनों की रेंडम स्पॉट चैकिंग होगी। रेंडम स्पाट चेकिंग से तात्पर्य यह है कि सफारी के दौरान जंगल के अंदर पर्यटकों को भ्रमण कराने वाले वाहनों पर नजर रखी जाएगी और देखा जाएगा कि वह नियमों का पालन कर रहे हैं या नहीं।
यह करेंगे तय
स्पॉट चेकिंग के द्वारा यह देखा जाएगा की पर्यटक वाहन निर्धारित मार्ग पर चल रहे हैं अथवा नहीं। यह भी देखा जाएगा कि पर्यटक वाहन बाघ और दूसरे वन्य प्राणियों के लिए परेशानी का कारण तो नहीं बने हुए हैं। यह आदेश एक दिन पहले ही भोपाल से एपीसीसीएफ वाइल्डलाइफ शुभरंजन सेन ने जारी किया है। इस आदेश में स्पष्ट किया गया है कि पर्यटक वाहनों कि इस तरीके से चेकिंग की जाए जिससे पर्यटक परेशान ना हो। लेकिन यदि नियमों की अवहेलना पाई जाती है तो पर्यटक वाहन चालक और गाइड के विरुद्ध नियमानुसार कार्रवाई की जाए।
15 दिनों का अलर्ट
जारी किए गए आदेश में स्पाट चेकिंग के लिए अगले 15 दिनों पर खासतौर से जोर दिया गया है। आदेश में कहा गया है कि 21 दिसम्बर से पांच जनवरी तक खासतौर से जांच की जाए। आदेश के अनुसार गेट पर ही जिप्सियों के अनुज्ञापत्र और पर्यटकों की आईडी की गहनता से जांच की जानी चाहिए। यह भी देखना होगा कि पर्यटन वाहन निर्धारित जोन में ही प्रवेश करें और किसी अन्य जोन में न जाएं। जंगल के अंदर वाहन अपनी निर्धारित गति सीमा में ही चलें और पर्यटक वाहनों के बीच निर्धारित दूरी के नियमों का भी पालन हो।
वन्य प्राणी न हों परेशान
आदेश में साफतौर से कहा गया है कि पर्यटन वाहनों की दूरी वन्य प्राणियों से निर्धारित दूरी के नियमों का पालन होना चाहिए। अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो वाहन चालक और गाइड के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। साथ ही जंगल के आसपास संचालित रिसार्ट संचालकों को भी इस आदेश में हिदायत दी गई है कि वे निर्धारित सीमा में ही ध्वनि विस्तारक यंत्रो का उपयोग करें। डीजे न बजाएं और ज्यादा शोर न करें।
नहीं हो रहा नियमों का पालन
जंगली जानवरों की सुरक्षा के लिए चाहे जितने नियम बना लिए जाएं लेकिन उनका पालन अधिकारी नहीं करवा पा रहे हैं। इसी महीने जंगल के अंदर बाघ को घेरकर फोटोग्राफी कराने का मामला काफी उछला था जिसमें सिर्फ आठ लोगों को नोटिस दिए गए और बाकी लोग छोड़ दिए गए। इतना ही नहीं नियमों को ताक पर रखने वाले सलीम खान नाम के एक जिप्सी संचालक को एक महीने के लिए रेंजर ने प्रतिबंधित कर दिया था उसे एसडीओ ने पांच सौ का जुर्माना करके बहाल कर दिया। इन परिस्थितियों में नहीं लगता कि बांधवगढ़ के अधिकारी उक्त आदेश का पालन करवा सकेंगे।
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