भोपाल। किसी प्रभावी मौसम प्रणाली के सक्रिय नहीं रहने और लगातार सर्द हवाएं चलने से प्रदेश में ठंड बढ़ गई है। मौसम विज्ञानियों का कहना है कि अभी दो दिन मौसम का मिजाज इसी तरह बना रह सकता है। रात के तापमान में कुछ और गिरावट होने के भी आसार हैं। बुधवार को प्रदेश में सबसे कम 7.2 डिग्री सेल्सियस तापमान राजगढ़ का दर्ज किया गया।
राजधानी में न्यूनतम तापमान 11 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया, जो इस सीजन का सबसे कम तापमान रहा। हिल स्टेशन पचमढ़ी में रात का पारा 8.8 डिग्री सेल्सियस पर रहा। प्रदेश के 28 शहरों में रात का तापमान 15 डिग्री सेल्सियस से कम दर्ज किया गया।
मौसम विज्ञान केंद्र के मौसम विज्ञानी एसएन साहू ने बताया कि वर्तमान में एक पश्चिमी विक्षोभ उत्तर-पश्चिमी उत्तर प्रदेश पर द्रोणिका के रूप में बना हुआ है। इस मौसम प्रणाली के कमजोर रहने के कारण इसका मप्र के मौसम पर विशेष असर नहीं हो रहा है। हवा का रुख भी उत्तर-पूर्वी बना हुआ है।
इस वजह से तापमान में गिरावट होने लगी है। मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि उत्तर-पश्चिमी उत्तर प्रदेश पर सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ गुरुवार को आगे बढ़ जाने की भी संभावना है। उत्तर भारत में मौसम काफी ठंडा है।
उत्तर भारत की तरफ से लगातार आ रही सर्द हवाओं के कारण प्रदेश में सिहरन बढ़ने लगी है। दो दिन तक मौसम का मिजाज इसी तरह बना रह सकता है। इस दौरान रात के तापमान में और गिरावट हो सकती है। हालांकि, एक नया पश्चिमी विक्षोभ भी अफगानिस्तान के आसपास द्रोणिका के रूप में बना हुआ है। इसके असर से दो दिन बाद प्रदेश में कुछ स्थानों पर बादल छा सकते हैं।
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