खुलासा- निज्जर हत्या पर ट्रूडो के पास कोई खुफिया जानकारी ही नहीं, कनाडा के 8 गुरुद्वारों पर खालिस्तानी ग्रुप का कंट्रोल

खालिस्तानी अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या को लेकर भारत-कनाडा के बीच तनाव चरम पर है। खालिस्तानी आतंकियों को संरक्षण देने को लेकर अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कनाडा सरकार की छवि धूमिल होती जा रही है।   इस बीच खुफिया सूत्रों से हैरान कर देने वाली जानकारी सामने आई है ।  भारत सरकार के एक शीर्ष सूत्र ने बताया कि प्रधान मंत्री जस्टिन ट्रूडो के नेतृत्व वाली कनाडाई सरकार के पास खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या पर कोई खुफिया जानकारी नहीं है। भारत और कनाडा के बीच द्विपक्षीय संबंधों को झटका देते हुए, ट्रूडो ने हाल ही में भारत पर निज्जर की हत्या में शामिल होने का आरोप लगाया था। विदेश मंत्रालय ने आरोपों का जवाब देते हुए कहा कि ट्रूडो द्वारा किए गए दावे प्रेरित और बेतुके हैं।

“दो दिन पहले, कूटनीतिक तरीके से मने जानकारी मांगी लेकिन कनाडाई पक्ष कुछ भी प्रस्तुत करने में असमर्थ है। उन्होंने खालिस्तानी समूहों की सलाह पर काम किया है और इसकी जानकारी जी7 समूहों को भी दे दी गई है।”उन्होंने कहा, ”खराब अर्थव्यवस्था के कारण उनकी अपनी कानून व्यवस्था एक मुद्दा है। डूबती अर्थव्यवस्था के कारण उनके पास कानून प्रवर्तन बल की कमी है।” सूत्र ने कनाडा में “गैंगवारों की सामान्य स्थिति” और “आव्रजन व्यवसाय” की ओर इशारा किया।सूत्र ने कहा “पाकिस्तान इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (ISI) और कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना (CCP) कनाडा में बहुत सक्रिय हैं और ट्रूडो ने खुद के सेफ करने के लिए इसका दोष भारत पर मढ़ दिया ” । उन्होंने कहा, भारतीय पक्ष स्पष्ट है कि कोई भी टिप्पणी करने से पहले सबूत साझा किए जाने चाहिए।

भारतीय खुफिया एजेंसी के सूत्र ने बताया कि कनाडा के लगभग 250 गुरुद्वारों में से 8 पर खालिस्तानी समूहों का कंट्रोल है। सूत्र के अनुसार  यह अलगाववादी समूह सरे, ब्रिटिश कोलंबिया, ब्रैम्पटन और एबॉट्सफ़ोर्ड और टोरंटो के कुछ क्षेत्रों में सक्रिय हैं। सूत्र ने बताया, “उनकी ताकत के अनुसार, लगभग 10,000 सिख खालिस्तानी विचारधारा का समर्थन कर रहे हैं जिनमें से 5,000 कट्टर हैं जबकि बाकी लोग केवल सहानुभूति रखते हैं और साथियों के दबाव में उनका समर्थन करते हैं।”

एक अन्य जानकारी के अनुसार कनाडा में खालिस्तानी तत्व, विशेष रूप से लिबरल पार्टी और न्यू डेमोक्रेटिक पार्टी, वैंकूवर में पाकिस्तान के इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (ISI) एजेंटों से नियमित रूप से फंडिंग प्राप्त कर रहे हैं। सूत्रों का कहना है कि खालिस्तानी तत्व “इमिग्रेशन” के नाम पर छात्रों से पैसे ले रहे हैं और उनका इस्तेमाल “भारत विरोधी प्रचार” के लिए कर रहे हैं।  बता दें कि कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो  द्वारा खालिस्तानी अलगाववादी की कनाडा में  हुई हत्या में भारतीय एजेंटों के संलिप्त रहने का आरोप लगाने के चलत्अं तरराष्ट्रीय स्तर पर कनाडा सरकार की छवि धूमिल होती जा रही है और  भारत के साथ रिश्तों में खटास भी बढ़ गई है।

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