इंदौर। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत बड़े गणपति से कृष्णपुरा छत्री तक बनाई गई सड़क कागजों पर भले ही पूरी हो गई हो लेकिन वास्तविकता यह है कि सड़क पर अब भी कई जगह काम बाकी है। कहीं धर्मस्थल हटाने के नाम पर तो कहीं विवाद की स्थिति बताकर काम रोक दिया गया था। काम करने वाली ठेकेदार कंपनी कामकाज समेटकर यहां रवाना हो चुकी है, ऐसे में सवाल यह है कि बचे हुए काम करेगा कौन क्योंकि निगम पहले ही स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत बनी सड़कों के बचे हुए काम करने से अपना पल्ला झटक चुका है।
कम से कम 20 जगह अधूरे हैं काम
बड़े गणपति से कृष्णपुरा छत्री के बीच कम से कम 20 ऐसी जगह हैं, जहां सड़क का काम अधूरा है। कहीं-कहीं तो कंपनी ने सड़क बनाई ही नहीं है। कहीं अतिक्रमण बताकर तो कहीं धर्मस्थल की आड़ लेकर काम रोका गया था। यह मिश्रित क्षेत्र है। यानी यहां आवासीय और व्यवसायिक दोनों तरह के मकान हैं। ऐसे में काम अधूरा होने से रहवासी और व्यापारी दोनों परेशान हो रहे हैं।
समन्वय की कमी की वजह से हुई गड़बड़ी
स्मार्ट सिटी कंपनी और नगर निगम के बीच समन्वय की कमी का असर इस सड़क पर साफ देखा जा सकता है। दरअसल अतिक्रमणरोधी कार्रवाई नगर निगम को करना थी जबकि निर्माण कंपनी की जिम्मेदारी थी लेकिन निगम और कंपनी की आपसी खींचतान के चलते कई जगह ऐसे ही छोड़ दी गई।
न पेवर लगाए न सड़क बनाई
ठेकेदार कंपनी को पूरी सड़क पर पैदल आने-जाने वालों के लिए बनाए फुटपाथ पर पेवर लगाना थे, लेकिन कंपनी ने ऐसा नहीं किया। बड़ा गणपति से राजवाड़ा के बीच ही कई जगह है जहां कंपनी ने काम अधूरा छोड़ा है। इसी तरह मल्हारगंज क्षेत्र के आसपास कुछ जगह सड़क ही नहीं बनाई गई। इधर स्मार्ट सिटी कंपनी के सीइओ दिव्यांक सिंह भी स्वीकारते हैं कि कुछ जगह काम अब भी अधूरा है। उनका कहना है कि कंपनी ने वर्षाकाल के बाद बचे हुए काम करने का आश्वासन दिया है।
Comments are closed, but trackbacks and pingbacks are open.