ज्येष्ठ माह की पूर्णिमा तिथि बहुत ही खास मानी जाती है। इस तिथि के दिन पुण्य कर्म करने से कई गुना अधिक फल की प्राप्ति होती है। इस साल ज्येष्ठ पूर्णिमा तिथि 3 जून, शनिवार के दिन है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार इस दिन दान-धर्म सहित कुछ विशेष चीजों का दान करने व छोटे-छोटे उपाय करने से मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं और जातक को आशीर्वाद प्रदान करती हैं।
हिंदू पंचांग के अनुसार, इस साल ज्येष्ठ माह की पूर्णिमा तिथि की शुरुआत 3 जून, शनिवार को सुबह 11 बजकर 16 मिनट पर होगी और अगले दिन 4 जून रविवार को सुबह 09 बजकर 11 मिनट पर इसकी समाप्ति होगी। ऐसे में पूर्णिमा का व्रत 3 जून को रखा जाएगा और स्नान-दान 4 जून को किया जाएगा। बता दें कि ज्येष्ठ माह की पूर्णिमा तिथि के दिन पूजा अर्चना के साथ कुछ उपाय करने से विशेष लाभ प्राप्त होंगे। आइए जानते हैं इस दिन क्या करें उपाय
इन चीजों में से किसी एक चीज का करें दान
ज्येष्ठ पूर्णिमा के दिन पवित्र नदी में स्नान व पूजा करने के पश्चात चंद्रमा से जुड़ी चीजों का दान करना चाहिए। अपने सामर्थ्य अनुसार किसी एक चीज का दान करना उत्तम फल प्रदान करता है। इसलिए इस दिन किसी ब्राह्मण को सफेद वस्त्र, शक्कर, चावल, दही, चांदी, सफेद फूल, मोती आदि का दान करें। इससे आपके कुंडली में चंद्रमा मजबूत होगा और घर में बरकत सहित सुख-समृद्धि आएगी। आपको मां लक्ष्मी का आशीर्वाद भी प्राप्त होगा।
मां लक्ष्मी की पूजा
ज्येष्ठ पूर्णिमा के दिन धन की देवी मां लक्ष्मी की प्रतिमा पर 11 कौड़ियां चढ़ाएं और हल्दी से तिलक करें। अगले दिन इन कौड़ियों को एक लाल कपड़े में बांधकर धन की तिजोरी में रख दे। जहां आप अपना धन रखते हैं। ऐसा करने से मां लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होगी और घर में कभी भी धन की कमी नहीं रहेगी।
पीपल के पेड़ की पूजा
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार ज्येष्ठ माह की पूर्णिमा तिथि के दिन पीपल के वृक्ष में मां लक्ष्मी का आगमन होता है। वहीं अगर इस दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि से निवृत्त होकर पीपल के पेड़ पर कुछ मीठा चढ़ाएं और फिर जल अर्पित करें तो इससे मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं और आशीर्वाद देती हैं।
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