सीहोर। गत दिनों जिला मुख्यालय स्थित राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास संस्थान (एनआइएचआर) में चल रही अनियमित्ताओं को लेकर अभाविप द्वारा विरोध प्रदर्शन कर डिप्टी रजिस्ट्रार मो. अशफाक को निलंबित करने की मांग की जा रही थी। उन पर पौराणिक ग्रंथों की गलत व्याख्या करने एवं आर्थिक अनियमिताओं के भी आरोप लगाए गए थे। इसी सिलसिले में मोहम्मद अशफाक को 22 मई को तत्काल प्रभाव से निलंबित किया गया है। राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास संस्थान के प्रशासनिक अधिकारी डा आनंद किशोर पांडेय ने जारी कर दिए। अशफाक के स्थान पर राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ पुनर्वास संस्थान सीहोर के उपकुलसचिव आहरण एवं वितरण अधिकारी एवं केंद्रीय लोक सूचना अधिकारी का कार्यभार प्रगति पाण्डेय सहायक प्राध्यापक को दिया गया है।
उल्लेखनीय है कि पिछले सप्ताह पांच दिनों तक अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के कार्यकताओं ने धरना प्रदर्शन किया था। जिला संयोजक शुभम व्यास ने बताया कि एम माह पहले किए गए विरोध प्रदर्शन के दौरान राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य पुनर्वास संस्थान के डायरेक्टर व प्रशासनिक अधिकारियों के द्वारा आश्वासन दिया गया था कि आप की मांगे जल्द से जल्द पूरी होंगी, लेकिन इसके बाद भी इस विषय में कोई भी कार्रवाई नहीं हुई। जिसके बाद अभाविप पिछले सप्ताह सोमवार से पांच दिनों तक धरने पर बैठकर प्रदर्शन किया था। लेकिन संस्थान के बच्चों की परीक्षा होने से इसे छात्र हित में रोक दिया गया था। हमारी मांग थी कि जब मो. अशफाक पर आर्थिक गबन के आरोप सिद्ध हो चुके हैं, फिर भी शासन-प्रशासन कोई कार्रवाई क्यों नहीं कर रहा है। जब हमने धरना दिया तो डिप्टी रजिस्ट्रार मो. अशफाक को संस्थान में उपस्थित होना था, लेकिन धरना प्रदर्शन की वजह से वो बार-बार संस्थान छोडक़र भाग रहे थे। जिसके चलते मो. अशफ़ाक़ के आफिस में घुसकर गुमशुदा होने के पोस्टर चिपकाए और पोस्टर पर कालिख पोती और जमकर नारेबाजी की थी।
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