जम्मू-कश्मीर की राजधानी श्रीनगर में सोमवार से जी-20 सदस्यों के टूरिज्म वर्किंग ग्रुप की बैठक होनेवाली है। एक तरफ सरकार ने इसकी तैयारी और सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किये हैं। बता दें कि 22-24 मई तक होनेवाली ये बैठक, नई दिल्ली में सितंबर में होने वाले जी20 शिखर सम्मेलन से पहले बैठकों की एक श्रृंखला का हिस्सा है। इसकी तैयारियों का जायजा लेने श्रीनगर पहुंचे G20 के मुख्य समन्वयक हर्षवर्धन श्रृंगला ने कहा कि श्रीनगर अब पहले से और सुंदर हो गया है और सुविधाएं मिली हैं। जब यहां दुनिया के प्रभावशाली देशों के अंतरराष्ट्रीय प्रतिनिधि आएंगे और श्रीनगर की प्राकृतिक सुंदरता और सुविधाओं के देखेंगे तो घाटी में पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा।
आतंकी साजिश का खुलासा
एक तरफ सरकार इस आयोजन को सफल बनाने की कोशिशों में जुटी है, तो दूसरी तरफ आतंकी संगठनों ने इसमें बाधा डालने की साजिशें तेज कर दी हैं। राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने जैश-ए-मोहम्मद के एक सदस्य को गिरफ्तार किया, जिसकी पहचान कुपवाड़ा ज़िले के मोहम्मद उबैद मलिक के रूप में हुई है। NIA ने बताया जैश-ए-मोहम्मद का को-ऑपरेटिव मोहम्मद उबैद मलिक पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद कमांडर के लगातार संपर्क में था। जांच से पता चला कि आरोपी पाकिस्तान स्थित कमांडर को विशेष रूप से सैनिकों और सुरक्षा बलों की आवाजाही के बारे में गुप्त जानकारी दे रहा था।
सुरक्षा के इंतजाम
जी20 सदस्यों की बैठक के मुद्देनजर सुरक्षा एजेंसियां श्रीनगर में किसी तरह का जोखिम नहीं उठाना चाहती हैं। श्रीनगर शहर और आसपास के इलाकों में स्थित महत्वपूर्ण प्रतिष्ठानों जैसे सैन्य, पुलिस, नागरिक सचिवालय आदि के आसपास मल्टी-टियर सुरक्षा स्थापित की गई है। इस बीच, कश्मीर पुलिस ने घाटी में जी-20 बैठक को लेकर फैलाई जा रही अफवाहों के खिलाफ भी ऐक्शन लिया है। इसे लेकर कुछ संदिग्ध अंतरराष्ट्रीय मोबाइल नंबरों के खिलाफ पब्लिक एडवाइजरी जारी की गई है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक कश्मीर में जी-20 के दौरान होटल में घुसकर हमले का प्लान बनाया जा रहा था, और 26/11 वाली घटना को दोहराने की साजिश रची जा रही थी। इसके बाद जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा बलों ने सुरक्षा कारणों के चलते जी-20 टूरिज्म वर्किंग ग्रुप सम्मेलन के कार्यक्रम में अंतिम समय में बदलाव किए।
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