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बिहार में मदरसा शिक्षकों का मानदेय कितना? CM नीतीश के कार्यक्रम में बकाया वेतन को लेकर किया हंगामा

पटना के बापू सभागार में आयोजित कार्यक्रम में शामिल होने पहुंचे सीएम नीतीश कुमार को विरोध का सामना करना पड़ा. मदरसा बोर्ड की स्थापना के 100 साल पूरे होने पर कार्यक्रम का आयोजन आज, 21 अगस्त को किया गया. मदरसा शिक्षकों ने मानदेय बढ़ाने और बकाया वेतन को लेकर कार्यक्रम में हंगामा किया. ऐसे में आइए जानते हैं कि बिहार में मदरसा शिक्षकों का मानदेय कितना है और राज्य में कुल कितने मदरसे हैं.

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार कार्यक्रम में करीब 15000 लोग शामिल हुए थे, जिसमें कुछ मदरसा बोर्ड के शिक्षक भी थे. उन्होंने मानदेय बढ़ाने को लेकर सीएम नीतीश कुमार के सामने प्रदर्शन किया. हालांकि मौजूद पुलिस में उन्हें समझाया और तब जाकर मामला शांत हुआ.

कितना है मदरसा शिक्षकों का मानदेय?

एक आंकड़ों के अनुसार बिहार में 3200 के करीब मदरसे हैं. इनमें 1600 मदरसे को राज्य सरकार से अनुदान मिलता है, जबकि 1600 मदरसे अनुदानित नहीं है. अगर सैलरी की बात की जाए तो जो पुराने मौलवी और फाजिल कार्यरत हैं. उनकी सैलरी 50 हजार रुपए के करीब प्रतिमाह है, जबकि नई नियुक्ति के अनुसार इन सभी चारों पदों पर काम करने वालों की सैलरी 24000 रुपए से लेकर के 34000 तक है. इनमें मौलवी इंटर, आलीम ग्रेजुएशन और फाजिल पीजी के समक्ष हैं, जबकि हाफिज धार्मिक शिक्षा प्रदान करते हैं.

मदरसे ‘वस्तानिया’ स्तर कक्षा 8 तक, फौकानिया कक्षा 10 तक, मौलवी कक्षा 12 और आलिम स्नातक स्तर के होते हैं. मदरसा शिक्षकों ने हंगामा करते हुए कहा कि शिक्षकों का वेतन बकाया है और मदरसा बोर्ड की हालत खराब है. वहीं मई में भी दरभंगा में मदरसा शिक्षकों ने बकाया वेतन नहीं मिलने पर सरकार के प्रति नाराजगी जताई थी. राज्य में 1600 मदरसों को राज्य सरकार से अनुदान नहीं मिलता है.

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