तहव्वुर राणा की याचिका पर कोर्ट ने NIA से मांगा जवाब, 4 जून को अगली सुनवाई

दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट स्थित स्पेशल NIA कोर्ट ने 26/11 के मुंबई हमले के मास्टरमाइंड आरोपी तहव्वुर राणा की याचिका पर नोटिस जारी कर NIA से जवाब मांगा. साथ ही कोर्ट ने इस मामले में तिहाड़ जेल अधिकारियों से रिपोर्ट भी मांगी है. स्पेशल जज चंद्रजीत सिंह ने राणा की याचिका पर जेल अधिकारियों को नोटिस जारी किया.
तहव्वुर राणा ने जेल नियमों के तहत कोर्ट से अपने परिवार से बात करने की अनुमति मांगी गई है. कोर्ट मामले में अगली सुनवाई 4 जून को करेगी. अमेरिका से प्रत्यार्पित कर भारत लाया गया तहव्वुर राणा फिलहाल 6 जून तक न्यायिक हिरासत में है.
तहव्वुर राणा को 10 अप्रैल को भारत लाया गया था
मुंबई आतंकी हमले के आरोपी तहव्वुर राणा को पिछले दिनों अमेरिका से प्रत्यर्पित कर भारत लाया गया था. इसके बाद कोर्ट ने उसे 18 दिन के लिए NIA की हिरासत में भेज दिया था. राणा को उसकी 18 दिन की एनआईए हिरासत खत्म होने के बाद कड़ी सुरक्षा के बीच कोर्ट में पेश किया गया था. राणा को भारत लाए जाने के बाद वरिष्ठ अधिवक्ता दयान कृष्णन और विशेष लोक अभियोजक नरेंद्र मान NIA की तरफ से पेश हुए. कार्यवाही शुरू होने से पहले कोर्ट ने राणा से पूछा था कि क्या उसके पास कोई वकील है.
राणा ने बताया कि उसके पास कोई वकील नहीं है. इस पर कोर्ट ने बताया कि दिल्ली विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से उसे वकील मुहैया कराया जा रहा है. इसके बाद वकील पीयूष सचदेवा को उसका प्रतिनिधित्व करने के लिए नियुक्त किया गया.
राणा पर मुंबई हमले में साजिश रचने का आरोप
राणा पर मुंबई हमले में साजिश रचने का आरोप है. राणा पर आरोप है कि उसने डेविड हेडली को मुंबई हमले की रेकी करने में मदद की. उसने अपनी इमिग्रेशन फर्म के जरिए हेडली को बिजनेस वीजा दिलवाया, जिसके तहत हेडली ने ताज होटल, नरीमन हाउस और छत्रपति शिवाजी टर्मिनस जैसे स्थानों की वीडियो रिकॉर्डिंग की. जांच में पता चला कि राणा ने 11 से 21 नवंबर 2008 तक मुंबई के पवई में रेनेसां होटल में ठहरकर हमले की योजना में सहयोग किया.
राणा को अक्टूबर 2009 में शिकागो हवाई अड्डे पर FBI ने गिरफ्तार किया था. 2013 में उसे दोषी ठहराया गया और 14 साल की सजा सुनाई गई. फिर बाद में बरी कर दिया गया. भारत ने 2019 से राणा के प्रत्यर्पण की मांग शुरू की. फरवरी 2025 में अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट ने उनकी याचिका खारिज कर दी और 10 अप्रैल 2025 को राणा को एक विशेष विमान से भारत लाया गया.