इंदौर। इंदौर-देवास बायपास की बदहाली को लेकर हाई कोर्ट में चल रही जनहित याचिका में मंगलवार को बहस होनी थी, लेकिन टल गई। कोर्ट अब इस मामले में अगले सप्ताह सुनवाई करेगी। राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचआइ) पिछली सुनवाई पर कोर्ट को बता चुका है कि इंदौर-देवास बायपास का काम देख रही कंपनी का ठेका निरस्त कर दिया है।
मंगलवार को केंद्र शासन और बायपास का काम देख रही गायत्री प्रोजेक्ट्स लिमिटेड की तरफ से जवाब आना था, लेकिन नहीं आया। जनहित याचिका संस्था मातृ फाउंडेशन की ओर से एडवोकेट अमेय बजाज ने दायर की है। कहा है कि बायपास बीओटी प्रोजेक्ट के तहत हैदराबाद की कंपनी गायत्री प्रोजेक्ट्स लिमिटेड को दिया गया था।
शर्तों के मुताबिक उपलब्ध नहीं करवाई सुविधाएं
शर्तों के मुताबिक कंपनी को स्ट्रीट लाइट, लैंड स्केपिंग, पौधारोपण, ट्रक ले-बाय, ट्रैफिक ऐड पोस्ट, पेडेस्ट्रियन सुविधा, सुविधाघर, चिकित्सकीय एड पोस्ट, बस-बाय और बस खड़े रहने का स्थान सहित कई अन्य सुविधाएं यात्रियों के लिए उपलब्ध करानी थीं, लेकिन कोई सुविधा उपलब्ध नहीं करवाई गई। बायपास की स्थिति खराब है। जगह-जगह गड्ढे हैं।
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