बिलासपुर। महाप्रभु भगवान जगन्नाथ, भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के अलौकिक स्वरूप का भक्तों ने सोमवार सूर्योदय के साथ दर्शन लाभ लिया। एक पखवाड़े के बाद मंदिर का कपाट खुलते ही महाप्रभु का दिव्य दर्शन करने श्रद्वालु टूट पड़े। रेलवे परिक्षेत्र स्थित श्री श्री जगन्नाथ मंदिर में दर्शन करने लगातार भक्त पहुंच रहे हैं।
नेत्र उत्सव के बाद आज महाप्रभु भगवान जगन्नाथ का नबोजोबन दर्शन हुा। भक्त अपने महाप्रभु का नए स्वरूप के दिव्य दर्शन करने सुबह से पहुंचने लगे थे। ब्रम्ह मुहुर्त में शुरू हुई विशेष पूजन के बाद सूर्योदय के साथ पुरोहितों ने मंदिर का कपाट खोल दिया।
रेलवे परीक्षेत्र में इस अवसर पर भक्तिमय माहौल नजर आया। महाप्रभु को देखने कई भक्तों के आंखों से आंसू भी झलक पड़े। भगवान जगन्नाथ अब पूरी तरह स्वस्थ्य हो चुके हैं। सोमवारको पूरोहित द्वारा विधिवत मंत्रोपचार के साथ नबोजोबन दर्शन कराया गया। महाप्रभु के आंखों में काजल लगाया गया। विशेष पूजा अर्चना हुई।
बता दें कि पूर्णिमा तिथि में 108 कलश जल से महास्नान करने के बाद महाप्रभु बीमार पड़ गए थे। औषधीय पद्धति से पुरोहित सेवा यानी उपचार क रहे हैं। रेलवे परिक्षेत्र स्थित श्री श्री जगन्नाथ मंदिर के पुजारी गोविंद प्रसाद पाढ़ी ने खुशखबरी देते हुए बताया कि महाप्रभु अब स्वस्थ्य हैं। 20 जून को रथयात्रा निकलेगी।
विधायक पांडेय करेंगे छेरापहरा की परंपरा
रथयात्रा पर महाप्रभु अपने भाई बलभद्र और बहन सुभद्रा के साथ रथ पर सवार होकर मौसी मां के घर जाएंगे। वहां नौ दिन बिताने के बाद फिर मंदिर आएंगे। रथयात्रा मंदिर से निकलकर तितली चौक से होते हुए रेलवे स्टेशन, गिरजा चौक, तारबाहर, गांधी चौक दयालबंद होते हुए मौसी मां के घर (मंदिर प्रांगण) में पहुंचेगी। इस दिन छेरापहरा की परंपरा विधायक शैलेष पांडेय निभाएंगे। वहीं बाहुड़ा यात्रा के दिन यह यात्रा ठीक विपरीत होगी। भक्त रथ खींचने के साथ महाप्रभु का आशीर्वाद लेंगे।
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