पत्रकारों की हो सूची अंकित फर्जी पत्रकार हो पत्रकारिता से बाहर

वास्तविक पत्रकारों की सूची कोतवाली के साथ उच्चाधिकारियों व शासकीय कार्यालयों में भी होना चाहिये सूची में अखबार का नाम एवं पत्रकार का नाम व उनका मोबाइल नंबर भी अंकित होना चाहिए नाम सूची में अंकित किया जा सकें व फर्जी पत्रकार को पत्रकारिता के क्षेत्र से बाहर का रास्ता दिख सकें 
राष्ट्र चंडिका,सिवनी । शहर में फर्जी पत्रकारों की बढती तादात ने पत्रकारिता छवि को धूमिल कर दिया है। इसमें हैरानी का विषय यह है कि अपने आप को स्वंयभू पत्रकार घोषित करने वाले पत्रकारों की शैक्षिणता पर ही प्रश्रचिन्ह ही नही लग रहा ,अपितु इनकी कार्यशैली भी संदेह के घेरे में है। यह स्थिती बडी गम्भीर है ,क्योकि आगामी भविष्य में इसके दूरगामी नकारत्मक परिणाम से मीडिया गु्रप ही नही बल्कि प्रोफशनल पत्रकार भी अछूते नही रह पायेगे। वर्तमान स्थिती यह हो गई है कि नॉन-प्रोफशनल फर्जी पत्रकारों ने जनता को इस तरह से भ्रमित कर दिया है ,वह सही और गल्त का अनुमान ही नहीलगा पा रहे है। उन्हे इस बात का अदांजा भी नही है कि वह इन फर्जी पत्रकारों के भम्रजाल में फसते जा रहे है। बिना पत्रकारिता डिग्री और अनुभवहीन यह पत्रकार अक्सर सर्वथ सभी जगह आसानी से देखे जा सकते है। फिर वह कोई सार्वजनिक मंच हों या फिर व्यक्तिगत कार्यक्रम अक्सर इनकी नकारत्मकता की छाप वहा आसानी से देखी जा सकती है। इसमें हास्यपद यह है कि इस तरह के फर्जी पत्रकार के वास्तिवक कार्य की बात की जाए तो यह नगण्य के समकक्ष है। सोशल मीडि?ा और डिजिटल तकनीक का इनके द्वारा जमकर फायदा उठाया जा रहा है। इस माध्यम को इनके द्वारा बखूबी से इस्तेमाल किया जा रहा है। लोगों को भ्रमित कर सोशल मीडिया माध्यम को न्यूज पोर्टल के जरिए असवैधानिक तौर परमाईक आईडी इस्तेमाल कर जो मायाजाल इनके द्वारा फैलाया जा रहा है वह इलैक्ट्रोनिक मीडिया को भी शर्मशार कर रहा है। इसमें गजब यह है कि इन फर्जियों ने अब प्रिंट मीडिया में भी सेंध लगा दी है। बकायदा इसके लिए आरएनआइ(अखबार पंजीकरण संस्था भारत)में अखबार का पंजीकरण करवाकर अखबार के सपंादक और मालिक बन कर इनके द्वारा लोगों के समक्ष रौब गाठा जा रहा है। अखबार पंजीकरण प्रक्रिया की लचीली व्यवस्था का नतीजा है कि इस तरह के लोग भी अखबार पंजीकरण करवा रहे है। कुछ समय पूर्व इस तरह के फर्जीवाडे के रोकथाम के लिए यह बात सामने आई थी कि उन्ही लोगों का अखबार का पंजीकरण किया जाए जिन्हे अखबार मेंं 5 वर्ष का अनुभव हो और साथ ही कम से कम शिक्षा का स्तर स्नातक या फिर उसके समकक्ष हो। पर कोई नियम ना होने के चलते अखबार के रजिस्ट्रेशन आसानी से यह फर्जी पत्रकार करवा रहे है। इनकी कार्यशैली भी संशय के घेरे में रहती है क्योकि लोगों को जिस तरह से इन्होने भ्रमजाल में फंसाया हुआ है यह इसका फायदा उठाने से सभी नही चूक रहे है। सिवनी  में कोई भी इनसे अछूता नही है जिन्हे इन फर्जी पत्रकारों ने परेशान नही किया हो । अवैध कमाई का जरिया बना चुके पत्रकारिता को इनके द्वारा बदनाम किया जा रहा है। लोगों से अवैध वसूली कर रहे यह लोग पत्रकारिता के स्तर को निम्र करने में लगे हुए है। जिसका खामियाजा सही और प्रोफशनल पत्रकार भुगत रहे है। अब देखना यह है कि इस तरह के फर्जी पत्रकारों के जमावडे के रोकथाम के लिए क्या किया जा सकता है।
जब सही पत्रकार न्यूज को सही रुप से अपने कवरेज के साथ छापता है तो नेता और अधिकारी बुखलाये हुये देखे जाते है कारण कि वह हकीकत का सही पत्रकार होता है जिसकी लेखनी ही उसके कार्य को प्रदर्षित करती हैं और जब फर्जी पत्रकारों से इनकी बातचीत होती है तो वे फर्जी राहत की साँस दिला देते है। इसी प्रकार से पत्रकारिता के क्षेत्र में फर्जी पत्रकारों का हुजुम सिवनी नगर में अत्यधिक संख्या में देखा जा रहा है। नगर का प्रत्येक व्यक्ति अपनी गाडी पर प्रेस लिखवायें नजर आ रहा है। प्रेस का जिन्हें मतलब ही नहीं पता है कि क्या है ये प्रेस। कुछ इस तरह के लोगों के पास न तो प्रेस का कोई प्रूफ है और न ही कोई कार्ड, फिर भी ये प्रेस लिखी गाडियाँ दौडा रहे है। निम्न कारण देतें हुए बताया गया कि वास्तविक पत्रकारों की सूची कोतवाली के साथ उच्चाधिकारियों के पास भी होना चाहिये कि जिससे सही पत्रकार कि पहचान कर उनका नाम सूची में अंकित किया जा सकें व फर्जी पत्रकार को पत्रकारिता के क्षेत्र से बाहर का रास्ता दिख सकें। इसके  साथ ही कैसे फर्जी पत्रकारों पर शिकंजा कसा जाना चाहिये इसपर भी वरिष्ठ नागरिको व नगरवासियों के माध्यम से इस पर चर्चा की गयी।इससे पहले भी उच्चाधिकारियों को उक्त कारणवश अवगत करवाया जा चुका है। इसमें कुछ तो पत्रकार ऐसे भी है जिनके पास न तो कोई भी न्यूज पेपर व न्यूज़ चैनल है और न ही कोई प्रेस का कार्ड और अपने आपको पत्रकार बताते है। अधिकारियों व जनता पर अपना रुआब बराबर दिखाते दिखलाई देते है। इसपर आला-अधिकारियों का ध्यान आक्रष्ट नही हुआ है कि असली पत्रकार है।
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