गुजरात हाईकोर्ट ने तीस्ता सीतलवाड़ की जमानत अर्जी खारिज कर दी है। अदालत ने तीस्ता को तत्काल सरेंडर करने का आदेश दिया है। बता दें सितंबर 2023 में सुप्रीम कोर्ट ने तीस्ता को सशर्त जमानत देते हुए हाईकोर्ट जाने को कहा था। आज (शनिवार) गुजरात हाईकोर्ट ने उस याचिका को खारिज कर दिया। जिसमें उनके वकील ने 30 दिनों तक गिरफ्तार नहीं किए जाने का अनुरोध किया था। जस्टिस देसाई की बेंच ने इस अनुरोध को खारिज करते हुए तुरंत सर्मपण करने को कहा है।
सबूतों से छेड़छाड़ करने का आरोप
तीस्ता सीतलवाड़ को पिछले साल 25 जून को गुजरात पुलिस ने गिरफ्तार किया था। तीस्ता पर आरोप है कि उन्होंने 2002 दंगों में निर्दोष लोगों को झूठा फंसाने की साजिश रची। साथ ही सबूतों से छेड़छाड़ कर तोड़-मरोड़ कर पेश किया। उन पर केस अहमदाबाद ब्योरो में दर्ज कराई गई थी। इसके बाद 7 दिन की पुलिस कस्टडी में रखने के बाद 2 जुलाई को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था।
पिछले साल किया था गिरफ्तार
गुजरात दंगों से जुड़े एक केस में सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस सांसद एहसान जाफरी की पत्नी जाकिया की याचिका खारिज कर दी थी। एहसान की दंगों में मौत हो गई थी। सर्वोच्च न्यायालय ने अपने फैसले में कहा था कि जाकिया की याचिका मेरिट नहीं है। इसके लिए तीस्ता दोषी हैं। उन्होंने अपने फायदे के लिए भावनात्मक रूप से जाकिया का इस्तेमाल किया है।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि तीस्ता सीतलवाड़ ने ऐसा इसलिए किया ताकि मामले को लंबे समय तक जिंदा रख सके और उसको फायदा मिलता रहे। अदालत ने कहा, ऐसे लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जानी चाहिए। इसके बाद तीस्ता को गुजरात पुलिस ने मुंबई से अरेस्ट कर लिया था।
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